शासक पक्ष के नेता गिरजाशंकर मिश्रा को करनी पड़ी दखलंदाजी, दौड़ते हुई मनपा
सूरत।जिस श्रीराम भगवान के नाम भाजपा की सरकार बनी आज उनके भक्त हनुमान को सूरत महानगर पालिका के अधिकारियों ने कैद कर डिपो में रख दिया था।लोग यह चर्चा भी आस्था के साथ गुस्से में कर रहे थे कि जिसे चक्रवती सम्राट रावण ने भी कैद नही कर पाया था,उसे मनपा के कर्मचारियों ने कैद कर लिया।
जब यह घटना हुई तो भगवान में आस्था रखने वालों में आक्रोश व्याप्त हो गया।सूरत शहर के बजरंग दल के प्रमुख देवी प्रसाद दुबे को बताया गया तो वे अपने बजरंगी सेना के साथ सूरत महानगर पालिका के उधना जोन पर धावा बोल दिए।जिसके बाद लोगों ने भाजपा सांसद सीआर पाटिल के खिलाफ टिपण्णी भी खूब की।आक्रोश को देखते हुए मनपा के भाजपा शासक पक्ष के नेता गिरजाशंकर मिश्रा भी इस मसले में दखलदांजी कर मूर्ति को वापस सोसायटी के लोगो को सौंपने का दबाव बनाकर वापस दिलाने लगे रहे।मामला जब तूल लेने लगा तो भाजपा के शहर उपाध्यक्ष छोटुभाई पाटिल भी उधना जोन पर आ धमके और वो भी मूर्ति वापस दिलवाने में सहयोगी बनें।
बताया जाता है कि उधना जोन के पास स्थिति पटेल नगर के एक खाली प्लॉट में एक सप्ताह पहले बजरंग बली की एक मूर्ति निकली जिसे लोगों ने पूर्ण श्रध्या के साथ पूजा पाठ शुरू कर मंदिर निर्माण में जुट गए।लेकिन गुरुवार को 12 बजे मनपा के अधिकारियों ने भगवान बजरंग बली जी की मूर्ति वहाँ से उठा ले गए थे।काफी विवाद के बाद आखिरकार मनपा को बजरंग दल के सामने झुकना पड़ा और लायी गयी बजरंग बली की मूर्ति को वापस लौटानी पड़ी।
उस समय वहाँ पर शासक पक्ष के नेता गिरजाशंकर मिश्रा, छोटू भाई पाटिल,बजरंग दल के शहर प्रमुख देवी प्रसाद दुबे,अजय सिंह,भगवती दुबे, यजुवेंद्र दुबे,निशा राय, पिरु जैन,अनिल राय,रमाकांत कौशिक, हरेरामजी सहित बड़ी संख्या में गणमान्य उपस्थित थे।