
विश्व एग्री-टूरिज्म दिवस का उद्देश्य कृषि पर्यटन को बढ़ावा देना
18वें विश्व एग्री-टूरिज्म दिवस पर पौधारोपण कार्यक्रम आयोजित
हिसार, 16 मई (हि.स.)। हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में 18वें विश्व एग्री-टूरिज्म
दिवस के अवसर पर पौधारोपण कार्यक्रम आयोजित किया गया। एग्री टूरिज्म सेंटर और लैंडस्केप
यूनिट द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.बीआर कम्बोज मुख्य
अतिथि रहे।
कुलपति प्रो. बीआर कम्बोज ने शुक्रवार को आयोजित इस कार्यक्रम में कहा कि विश्व
एग्री-टूरिज्म दिवस हर साल 16 मई को मनाया जाता है। यह दिन कृषि पर्यटन को बढ़ावा देने,
ग्रामीण अर्थव्यवस्थाओं को मजबूत करने और स्थानीय संस्कृतियों को संरक्षित करने में
मदद करता है। उन्होंने बताया कि विश्व एग्री-टूरिज्म दिवस का उद्देश्य कृषि पर्यटन
को बढ़ावा देना है। कृषि पर्यटन ग्रामीण क्षेत्रों में आय के नए अवसर पैदा करता है
जिससे स्थानीय लोगों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाया जा सकता है। कृषि पर्यटन स्थानीय
संस्कृति, कला और परंपराओं के संरक्षण को बढ़ावा देता है। उन्होंने कहा कि पर्यावरण
संरक्षण के लिए पौधारोपण करने के साथ-साथ लोगों को जागरूक करना बहुत जरूरी है। पेड़-पौधों
का मानव जीवन में विशेष महत्व है। पेड़-पौधों से विभिन्न प्रकार की औषधियां और इमारती
लकड़ी भी मिलती हैं। पृथ्वी को हरा-भरा बनाने तथा पर्यावरण प्रदूषण पर अंकुश लगाने
के लिए बारिश के मौसम में अधिक से अधिक पौधे लगाने चाहिए। उन्होंने कार्यक्रम में उपस्थित
अधिकारियों एवं कर्मचारियों से फलदार, छायादार, औषधीय और पर्यावरण महत्व वाले पौधे
लगाने का आह्वान भी किया। उन्होंने कहा कि पौधारोपण करने के साथ-साथ उनकी देखभाल करना
बहुत जरूरी है।
विश्वविद्यालय के कुलसचिव एवं भू-दृश्य संरचना इकाई के अध्यक्ष डॉ. पवन कुमार
ने कहा कि पेड़-पौधों का मानव जीवन में विशेष महत्व है, इसलिए हमें अधिक से अधिक पौधारोपण
करना चाहिए। इससे लोगों में पेड़-पौधों के प्रति जागरुकता आएगी और पर्यावरण को स्वच्छ
बनाने में मदद मिलेगी। एग्री-टूरिज्म सेंटर के अध्यक्ष डॉ. अरविंद मलिक ने बताया कि सेंटर में प्रतिवर्ष
हजारों की संख्या में लोग आ रहे हैं व यह संख्या लगातार बढ़ रही है। इसके अलावा यहां
फल-फूल व सब्जियों के पौधे भी बिक्री के लिए मौसम अनुसार उपलब्ध करवाए जाते हैं। इस
अवसर पर विभिन्न कॉलेजों के अधिष्ठाता, निदेशक, विभागाध्यक्ष, वैज्ञानिक व गैरशिक्षक
कर्मचारी उपस्थित रहे।
हिन्दुस्थान समाचार / राजेश्वर