जब न कंडोम थे और न गर्भनिरोधक गोलियां, तब हरम की हसीनाएं ऐसे रोकती थीं प्रेग्नेंसी
हरम की हसीनाएं ऐसे रोकती थीं प्रेग्नेंसी

सुलेमान प्रथम को अपनी अय्याशी के लिए भी जाना जाता है. इसके हरम में एक से बढ़कर एक खूबसूरत हसीनाएं मौजूद थी जिनके प्रेग्नेंट होने पर पाबंदी लगाई गई थी. यह वो दौर था जब कंडोम और दूसरी गर्भनिरोधक गोलियों का आविष्कार नहीं हुआ था. ऐसे में दासियों को प्रेग्नेंसी से बचने के लिए कई काम करने होते थे. कई तरीके तो बेहद दर्दनाक भी होते थे. जानकार बताते हैं कि हरम की महिलाएं वजाइना की सफाई के लिए एसिड (नींबू, संतरा, अनार के रस) का इस्तेमाल करती थी जो स्पर्म के खिलाफ असर दिखाते थे.

प्रेग्नेंसी से बचने के लिए हरम की महिलाएं पारंपरिक काढ़े का इस्तेमाल करती थी जिसे बनाने में वर्मवुड, पुदीना, क्रोकस या हॉर्सटेल का इस्तेमाल किया जाता था. ऐसा करने से अगर गर्भ रुकता भी था तो गर्भपात हो जाता था. जब राजा की हरम में एंट्री होती थी तब उससे पहले ही दासियों को बता दिया जाता था ताकि वो पहले से ही सज-सवंर कर तैयार रहें. कई बार प्रेग्नेंसी को रोकने के लिए प्राकृतिक तेलों का भी इस्तेमाल किया जाता था. इनमें जैतून और देवदार के तेल शामिल होते थे. इनसे यौन बीमारियों से भी बचाव होता था.